राजस्थान में पैर पसार रही ‘लंपी’ बीमारी, 30 हजार गाय-भैंसों की मौत, 50 हजार संक्रमित

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मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार अब तक 50 हजार से ज्यादा पशु संक्रमण का शिकार हो चुके हैं. वहीं 3 हजार की मौत हो चुकी है. इसी बीच पशुपालन मंत्री लालचंद कटारिया आज यानी बुधवार को एक जिला स्तरीय बैठक करेंगे.

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक लंपी बीमारी प्रदेश के 11 जिलों में फैल चुकी है. 50 हजार से ज्यादा पशु संक्रमित हो चुके हैं. इस बीमारी से तीन हजार से ज्यादा गाय-भैसों की मौत हो चुकी है. हालांकि ये आंकड़े पूरी तरह सही नहीं माने जा रहे हैं. इधर प्रदेश में लंपी बीमारी के संक्रमण के चलते पशुपालन मंत्री लालचंद कटारिया बुधवार को एक जिला स्तरीय बैठक करेंगे. सरकार के एक प्रवक्ता ने बताया कि पशुओं में इस रोग के बढ़ते प्रकोप को देखते हुए कटारिया तीन अगस्त को सभी जिला स्तरीय अधिकारियों के साथ एक ऑनलाइन बैठक करेंगे.

जिलों में भेजे जा रहे राज्य स्तर के नोडल अधिकारी
प्रवक्ता के अनुसार, पश्चिमी राजस्थान के जैसलमेर, जालौर, बाड़मेर, सिरोही, जोधपुर, नागौर तथा बीकानेर जिलों में गौवंशीय पशुओं में फैल रही इस बीमारी को लेकर राज्य सरकार सतर्क है. राज्य के पशुपालन मंत्री कटारिया ने सोमवार को जोधपुर जिले के फलौदी तथा आस-पास के क्षेत्रों में पंहुच कर स्थिति का जायजा लिया था. कटारिया ने कहा था कि प्रभावित प्रत्येक जिले को जरूरी दवाएं खरीदने के लिए पहले ही एक-एक लाख रुपये और पॉली क्लीनिक को 50-50 हजार रुपये जारी किए गए हैं. साथ ही कुछ जिलों को अतिरिक्त राशि दी जाएगी. बीमारी की रोकथाम के लिए किए जा रहे उपायों पर नजर रखने के लिए राज्य स्तर के नोडल अधिकारी जिलों में भेजे जा रहे हैं. उल्लेखनीय है कि राज्य के अनेक जिलों में पशु, खासकर गोवंश संक्रामक रोग ढेलेदार त्वचा रोग (लंपी स्किन डिजीज़) की चपेट में आ गए हैं.

इधर केंद्रीय जलशक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा कि संक्रमण की रोकथाम और नियंत्रण के लिए एक एडवायजरी जारी की गई है. प्रदेश सरकार को भी संक्रमित स्थानों पर मवेशियों के बचाव के लिए गोट पॉक्स टीकाकरण का प्रबंध करने को कहा गया है. केंद्र सरकार की ओर से भी किसी तरह की कोई कमी नहीं आने दी जाएगी.

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